Saturday, July 19, 2025
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Helicopter Crash: केदारनाथ रूट पर भयावह हादसा

खराब मौसम ने छीनी पांच जिंदगियां, Helicopter Crash ने मचाया हाहाकार

राज्य डेस्क

देहरादून 15 जून 2025: उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में Helicopter Crash ने हड़कंप मचा दिया है। रविवार सुबह गौरीकुंड क्षेत्र में केदारनाथ धाम से फाटा लौट रहा एक हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया। इस भयावह हादसे में हेलिकॉप्टर में सवार सभी पांच लोगों की मौत हो गई। हादसे की वजह खराब मौसम बताया जा रहा है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें मौके पर पहुंचकर राहत और बचाव कार्य में जुटी हैं।

Helicopter Crash: सुबह 5:30 बजे का दर्दनाक हादसा
हादसा रविवार सुबह 5:30 बजे हुआ, जब आर्यन कंपनी का हेलिकॉप्टर गौरीकुंड के ऊपर उड़ान भर रहा था। जानकारी के अनुसार, हेलिकॉप्टर गौरी माई खर्क से ऊपर जंगल में क्रैश हो गया। हेलिकॉप्टर में सवार पांच लोगों में एक बालिका और बीकेटीसी के कर्मचारी विक्रम सिंह रावत भी शामिल थे। स्थानीय नेपाली मूल की महिलाओं, जो उस समय घास काट रही थीं, ने हादसे की सूचना दी। हेलिकॉप्टर के शव बुरी तरह जल गए, जिससे पहचान में दिक्कत हो रही है।

एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीमें मौके पर
हेलिकॉप्टर नोडल अधिकारी राहुल चौबे और जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदन सिंह रजवार ने हादसे की पुष्टि की है। प्रारंभिक जांच में खराब मौसम को Helicopter Crash का मुख्य कारण बताया जा रहा है। घने कोहरे और कम दृश्यता ने हेलिकॉप्टर को नियंत्रित करना मुश्किल कर दिया। एसडीआरएफ की टीमें घटनास्थल पर पहुंच चुकी हैं और शवों को निकालने का काम जारी है। हादसे ने क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ा दी है।

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पहले भी हो चुके हैं Helicopter Crash हादसे
यह पहली बार नहीं है जब केदारनाथ रूट पर Helicopter Crash हुआ हो। इससे पहले, 7 जून 2025 को क्रिस्टल कंपनी के हेलिकॉप्टर में तकनीकी खराबी के कारण रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड हाईवे पर इमरजेंसी लैंडिंग करानी पड़ी थी। हेलिकॉप्टर बडासू हेलिपैड से केदारनाथ के लिए उड़ा था, लेकिन दो मीटर ऊपर उठते ही तकनीकी खामी के कारण पायलट ने हाईवे पर लैंडिंग कराई। इस दौरान हेलिकॉप्टर की टेल सड़क पर खड़ी कार से टकरा गई, और एक दुकान का हिस्सा भी क्षतिग्रस्त हो गया। पायलट को पीठ में चोट आई, लेकिन सभी पांच यात्री सुरक्षित रहे।

Helicopter Crash: केदारनाथ रूट पर भयावह हादसा

पायलट समेत छह की गई थी जान
उत्तराखंड में Helicopter Crash की घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं। 8 मई 2025 को उत्तरकाशी के गंगनानी के पास गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर एयरोट्रांस कंपनी का हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया था। इस हादसे में पायलट समेत छह लोगों की मौत हो गई थी, जबकि एक यात्री गंभीर रूप से घायल हुआ था। हेलिकॉप्टर सहस्त्रधारा हेलीपैड से हर्षिल के लिए उड़ा था। मृतकों में चार यात्री मुंबई और दो आंध्रप्रदेश के थे। पुलिस, एसडीआरएफ, और आपदा प्रबंधन की टीमें मौके पर पहुंची थीं, लेकिन ज्यादातर यात्रियों की मौके पर ही मौत हो गई।

क्या हैं बार-बार हादसों के कारण?
Helicopter Crash की बार-बार होने वाली घटनाएं उत्तराखंड में हेलिकॉप्टर सेवाओं की सुरक्षा पर सवाल उठा रही हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि खराब मौसम, तकनीकी खामियां, और पहाड़ी क्षेत्रों में उड़ान के लिए अपर्याप्त प्रशिक्षण इन हादसों के प्रमुख कारण हो सकते हैं। केदारनाथ और गंगोत्री जैसे धार्मिक स्थलों पर बढ़ती तीर्थयात्रियों की संख्या के कारण हेलिकॉप्टर सेवाओं पर दबाव बढ़ा है। ऐसे में सुरक्षा मानकों को और सख्त करने की जरूरत है।

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सीएम धामी ने घटना पर जताया दुख
गौरीकुंड के पास हुए इस हादसे पर सूबे के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दुख व्यक्त किया है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट करते हुए लिखा कि जनपद रुद्रप्रयाग में हेलिकॉप्टर के दुर्घटनाग्रस्त होने का अत्यंत दुःखद समाचार प्राप्त हुआ है। एसडीआरएफ, स्थानीय प्रशासन एवं अन्य रेस्क्यू दल राहत एवं बचाव कार्यों में जुटे हैं। बाबा केदारनाथ से सभी यात्रियों के सकुशल होने की कामना करता हूं।

जांच के आदेश, शोक की लहर
Helicopter Crash के बाद प्रशासन ने जांच के आदेश दे दिए हैं। हादसे की वजह और हेलिकॉप्टर की तकनीकी स्थिति की गहन जांच की जाएगी। जिला प्रशासन ने मृतकों के परिजनों को हर संभव सहायता का आश्वासन दिया है। गौरीकुंड और आसपास के क्षेत्रों में शोक की लहर है। स्थानीय लोग और तीर्थयात्री इस हादसे से स्तब्ध हैं।

Helicopter Crash: भविष्य की चुनौतियां
Helicopter Crash ने एक बार फिर हेलिकॉप्टर सेवाओं के नियमन और सुरक्षा पर सवाल खड़े किए हैं। उत्तराखंड जैसे पहाड़ी राज्य में हेलिकॉप्टर सेवाएं तीर्थयात्रियों और स्थानीय लोगों के लिए महत्वपूर्ण हैं। लेकिन बार-बार होने वाले हादसे चिंता का विषय हैं। सरकार को हेलिकॉप्टर ऑपरेटरों के लिए सख्त दिशानिर्देश लागू करने होंगे। साथ ही, मौसम की सटीक जानकारी और पायलट प्रशिक्षण पर ध्यान देना होगा।

सुरक्षा और नियमन पर जोर
Helicopter Crash ने उत्तराखंड में एक और दुखद अध्याय जोड़ दिया है। गौरीकुंड में हुआ यह हादसा न केवल पांच परिवारों के लिए त्रासदी है, बल्कि यह पूरे राज्य के लिए एक चेतावनी भी है। खराब मौसम और तकनीकी खामियों को रोकने के लिए तत्काल कदम उठाने की जरूरत है। दुनिया की नजर अब इस बात पर है कि प्रशासन इस हादसे से क्या सबक लेता है और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए क्या कदम उठाए जाते हैं।

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