जानिये क्या होता है Trump Derangement Syndrome का मतलब
इंटरनेशनल डेस्क
वाशिंगटन। अमेरिका के प्रेसिडेंट ट्रम्प ने सीधे-सीधे अरबपति मस्क पर Trump Derangement Syndrome (TDS) से ग्रसित होने का आरोप लगाकर माहौल गर्म कर दिया है। डोनाल्ड ट्रम्प और एलन मस्क के बीच चल रही पब्लिक फाइट अब एक हाई-वोल्टेज कंट्रोवर्सी में बदल चुकी है। ओवल ऑफिस से उन्होंने कहा कि मस्क अब पर्सनल अटैक की तरफ बढ़ सकते हैं और ये रिलेशनशिप शायद अब कभी पहले जैसा नहीं हो पाएगा।
यह विवाद तब भड़का जब मस्क ने ट्रम्प के बिग ब्यूटीफुल बिल को फेडरल डेफिसिट बढ़ाने वाला बताया और इम्पीचमेंट का सुझाव भी दे डाला। ट्रम्प ने इसे सीधा पर्सनल ट्रस्ट का उल्लंघन करार दिया। मस्क ने जिस अंदाज़ में ट्रम्प की टैक्स कट और स्पेंडिंग पॉलिसी पर सवाल उठाया, उसने व्हाइट हाउस के अंदर तक हड़कंप मचा दिया। उन्होंने इस बिल को डिसगस्टिंग अबॉमिनेशन यानी बेहद गंदा और घटिया करार दिया। इसके जवाब में ट्रम्प ने साफ कहा कि उन्हें मस्क की मदद की ज़रूरत नहीं थी- यहाँ तक की पेनसिल्वेनिया जैसी क्लोज सीट जीतने के लिए भी नहीं।

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ट्रम्प ने यह भी दावा किया कि मस्क को उन्होंने कई मौकों पर सपोर्ट किया, लेकिन अब ये सपोर्ट वन-साइडेड हो चुका है। मस्क ने 31 मई तक Department of Government Efficiency (DOGE) को लीड किया था। ये एक कॉस्ट-कटिंग इनिशिएटिव था जिसे खुद ट्रम्प ने प्रमोट किया था। लेकिन बिज़नेस कमिटमेंट्स के चलते मस्क ने ये पोस्ट छोड़ दी, जिसके बाद दोनों के बीच दूरी और बढ़ गई। ये अलगाव अब खुलकर बयानबाज़ी में तब्दील हो चुका है।
एलन मस्क ने जो ट्रम्प के इम्पीचमेंट का इशारा दिया, उसे डेमोक्रेट्स एक टूल की तरह देख रहे हैं जबकि रिपब्लिकन इसे बैकस्टैबिंग मान रहे हैं। ट्रम्प ने कहा कि उसने अभी तक मेरे बारे में पर्सनली बुरा नहीं कहा, लेकिन शायद अगला हमला वही होगा। ये लाइन सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी है। Trump Derangement Syndrome को कई रिपब्लिकन नेता एक सीरियस मेंटल डिसऑर्डर की तरह देख रहे हैं। मिनेसोटा में इसी साल एक प्रपोज्ड बिल लाया गया, जिसमें इसे एक मेंटल कंडीशन माना गया। बिल के मुताबिक यह एक अचानक पैदा हुआ पैरानॉयड रिएक्शन होता है जो ट्रम्प की पॉलिसीज़ और प्रेसिडेंसी के विरोध में पैदा होता है।
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बिल में ये भी लिखा गया कि इसके सिंपटम्स में ट्रम्प-इंड्यूस्ड हिस्टीरिया भी शामिल है—यानी ऐसा भ्रम कि ट्रम्प की हर बात में कोई मनोवैज्ञानिक गड़बड़ी है। अर्बन डिक्शनरी के अनुसार, Trump Derangement Syndrome एक ऐसी मेंटल कंडीशन है जिसमें इंसान ट्रम्प से इतनी नफरत करने लगता है कि वो लॉजिक और रीजन दोनों छोड़ देता है। CNN की एक 2018 रिपोर्ट के मुताबिक ये टर्म 2000 के दशक में शुरू हुआ था, जब ट्रम्प को प्रेसिडेंट बनने का आईडिया खुद में ही एक जोक लगता था।

इसका पहला वर्जन बुश डिरेंजमेंट सिंड्रोम था, जिसे 2003 में कॉलमनिस्ट चार्ल्स क्राउथैमर ने गढ़ा था। वहां से ये टर्म आज के ट्रम्प-केंद्रित डायलॉग में दोबारा लौट आया है। ट्रम्प और मस्क की साझेदारी अमेरिका के फ्यूचर इनोवेशन और पॉलिसी डिरेक्शन के लिए बेहद अहम मानी जाती थी। अब जब दोनों के बीच पब्लिकली डिस्टेंस बन चुकी है, तो ये कई सेक्टरों में असर डाल सकती है—जैसे स्पेस इन्वेस्टमेंट, टेक्नोलॉजी पॉलिसीज़, गवर्नमेंट इनोवेशन और पब्लिक-प्राइवेट कोलैबोरेशन।
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ट्रम्प का बयान अब नहीं पता कि पहले जैसा रिश्ता दोबारा होगा या नहीं अपने आप में एक संकेत है कि ये फॉलआउट सिर्फ पर्सनल नहीं, बल्कि पॉलिसी लेवल पर भी गहरा होगा। अब ये साफ है कि Trump Derangement Syndrome सिर्फ एक फ्रेज़ नहीं रहा। यह अब एक एक्टिव पॉलिटिकल वेपन बन चुका है, जिसका इस्तेमाल ट्रम्प विरोधियों को मेंटली अनस्टेबल बताने के लिए किया जा रहा है। इस वॉर के बीच ट्रम्प और मस्क का पर्सनल फॉलआउट एक नेशनल और ग्लोबल डिस्कशन का हिस्सा बन गया है।
इसी बीच मस्क ने अपने एक्स पर एक पोल पोस्ट करते हुए लिखा कि क्या मुझे अपनी खुद की एक राजनीतिक पार्टी बना लेनी चाहिए या नहीं? इस पर 5 मिलियन से अधिक लोगों ने वोट किया जिसमें लगभग 80% लोगों ने ‘हाँ’ में वोट किया और एक अलग पार्टी बनाने पर सहमति व्यक्त है। हालांकि मस्क अमेरिका के राष्ट्रपति कभी नही बन सकते क्योंकि उनका जन्म अमेरिका में नही हुआ है। वहां का राष्ट्रपति बनने के लिए यह आवश्यक है कि उम्मीदवार का जन्म संयुक्त राज्य अमेरिका में ही हुआ हो। एक अन्य एक्स यूजर ने लिखा की ट्रम्प को इस्तीफ़ा दे देना चाहिए, मस्क ने उसे कोट करते हुआ लिखा ‘यस’। विशेषज्ञ मानते है की अब ट्रम्प की नजदीकियां उपराष्ट्रपति जेडी वेंस से बन रही है।
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