सुलतानपुर में दलित वर्ग के गरीब लोगों को पैसे देकर बनाया जा रहा ईसाई !

-जिले में चल रहा है धर्म परिवर्तन का खेल

सुलतानपुर (हि.स.)। ईसाई मिशनरी ने उन दलित वर्ग के गरीब लोगों को पकड़ना शुरू कर दिया है जो आर्थिक रूप से कमजोर हैं। दलित वर्ग के गरीब लोगों को पैसे देकर ईसाई बनाया जा रहा है।

कूरेभार कस्बा के रहने वालों का कहना है कि डाकघर के पीछे एक मकान में मिशनरी से जुड़े लोग साप्ताहिक सभा का आयोजन कर रहे हैं। यह मकान केरल राज्य के तहसील दसरा हिल्ली अंतर्गत एलीजेंस की निवासी राम्याश्री का है। मकान उनकी मां पुनम्मा एम ने उस वक्त बनवाया था जब वह यहां की एक सीएचसी में नर्स थीं। राम्याश्री स्वयं बेंगलूरु में निवास करती हैं और ट्रस्ट का संचालन का काम काज उन्होंने अयोध्या के बरांव निवासी रेखा को दे रखा है।

गांव के राम मूर्ति राय बताते हैं कि यहां काफी दिनों से नीचे तबके के लोगों को इकट्ठा करते हैं। सुनने में आया है कि एजेंट लोगों को प्रार्थना सभा के नाम पर जमा करते हैं। सब लोग तो यही कहते हैं कि लालच दे-दे कर धर्म परिवर्तन होता है, क्रिश्चियन बनाते हैं। ज्यादातर गरीब तबके के लोगों को ही यहां पर बुलाया जाता है।

एक अन्य स्थानीय व्यक्ति ने बताया कि लोगों को प्रार्थना के नाम पर बुलाकर उनका दिमाग छह महीने तक डायवर्ट करते हैं। धन की लालच देकर फिर कहीं और ले जाकर उनका धर्म परिवर्तन कराया जाता है। इसकी मिसाल सैदखानपुर मियांगंज में सब लोग धर्म परिवर्तन कर ईसाई धर्म अपना चुके हैं।

रविवार को यहां पर आयोजित सभा में धनपतगंज के टीकर गांव से आई राजकुमारी मकान के दूसरे तल से कूदी तो चर्चाओं का बाजार गर्म हुआ। इस मामले को दबाने के लिये परिवार की ओर से बयान आया कि राजकुमारी मानसिक रूप से अस्वस्थ है। दबी जुबान से लोग यह भी कह रहे कि युवती को यहां झाड़-फूंक के लिए लाया गया था।

दयाशंकर

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