मूसलाधार बारिश के साथ हुई ओलावृष्टि, फसलों में भारी नुकसान

– बादलों की गड़गड़ाहट से किसानों के चेहरे पर आई चिंता की लकीरें

झांसी (हि.स.)। कभी सुबह, कभी शाम तो कभी देर रात बादलों की गड़गड़ाहट, मूसलाधार बारिश और ओलावृष्टि किसानों की नींद उड़ाने का काम कर रही है। कारण है खेत में पक कर तैयार खड़ी या फिर कटाई के दौरान जमीन पर पड़ी फसलें।

पिछले चार-पांच दिनों से मौसम का यही आलम बना हुआ है। यह क्रम अलग-अलग क्षेत्रों में अलग-अलग समय पर जारी है। असमय हो रही बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें पैदा कर दी हैं। किसान यह सोचने पर मजबूर है कि तैयार खड़ी फसल को वह घर तक कैसे पहुंचाएं जबकि मौसम वैज्ञानिक मौसम के इस बदलते स्वरूप का अभी और विकृत होना बता रहे हैं।

जनपद में सोमवार को भी दोपहर बाद एकाएक साफ पड़े आसमान में बादल घिर आए। तेज गड़गड़ाहट के साथ बारिश शुरू हो गई। कहीं पर ओलावृष्टि हो रही थी तो कहीं तेज बारिश। महानगर के प्रेम नगर, आवास विकास, मिशन कंपाउंड, सीपरी बाजार समेत महानगर से बाहर रक्सा, पठारी में भीषण ओलावृष्टि से फसलें बर्बाद हो गई। राजगढ़, बिजौली व हंसारी आदि तमाम स्थानों पर भी तेज पानी और ओलावृष्टि की सूचनाएं मिली। बीते रोज चिरगांव, बड़ागांव पालर आदि करीब आधा दर्जन से अधिक गांव में तेज बारिश और कहीं कहीं छुटपुट ओलावृष्टि की भी सूचनाएं मिली थी।

इससे पूर्व ललितपुर से लेकर तालबेहट, बबीना, बसई, पृथ्वीपुर, नया खेड़ा आदि स्थानों पर जमकर ओलावृष्टि हुई थी। यहां तक कि बबीना से झांसी के बीएचईएल तक भी सड़क पर गाड़ियों का चलना तक दूभर हो गया था। इतनी तेज बारिश और ओलावृष्टि में लोग सहम गए थे। किसानों ने देवताओं को खूब मनाया लेकिन उस दौरान कोई काम न आया। मौसम के इस मिजाज से जिले समेत पूरे बुंदेलखंड का कोई क्षेत्र अछूता नहीं है। हालांकि यह अलग बात है कि कहीं-कहीं पर केवल बूंदाबांदी ही हुई है तो कहीं तेज हवाओं ने खड़ी फसलें खेत में गिर गई हैं। ऐसा जिले के ककरबई, गरौठा, गुरसरांय, मऊरानीपुर आदि क्षेत्र में हुआ है।

मौसम वैज्ञानिक डॉ मुकेश चंद्रा के अनुसार यह पश्चिमी विक्षोभ के कारण उत्पन्न हुई स्थिति है जो हर वर्ष होती है। उन्होंने बताया कि हालांकि यह बहुत थोड़े समय के लिए ही आता है लेकिन इस बार समय लंबा खिंच गया है। अभी 22 मार्च तक मौसम का यह क्रम जारी रहने की संभावनाएं हैं। 22 मार्च के बाद और क्या बदलाव हो सकता है अपडेट के बाद ही बताया जा सकेगा।

महेश

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