मुख्यमंत्री और दोनों उपमुख्यमंत्री के जिम्मे छह-छह मण्डलों का प्रभार

-मंत्रियों के बाद मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्रियों के बीच भी मण्डल बांटे गए

लखनऊ (हि.स.)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश के 75 जिलों को तीन हिस्सों में बांट दिया है। सूबे के 25 जिलों की निगरानी खुद मुख्यमंत्री योगी करेंगे। वहीं 25-25 जिले की जिम्मेदारी उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक के पास होगी। ताकि योजनाओं को तेजी से धरातल पर उतारते हुए व्यवस्थाओं की पैनी निगरानी की जा सके। इसी के तहत मुख्यमंत्री योगी और उपमुख्यमंत्री सभी जिलों का दौरा करेंगे।

मंत्रियों के साथ ही योगी सरकार में मुख्यमंत्री समेत दोनों उपमुख्यमंत्रियों को भी मण्डल का प्रभार सौंपा गया है। मुख्यमंत्री योगी ने दोनों उप मुख्यमंत्रियों केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक को छह-छह मण्डल दिए हैं। वहीं खुद के पास भी उन्होंने छह मण्डल रखे हैं। सभी के पास 25-25 जिलों का प्रभार रहेगा। वह अपने प्रभार वाले क्षेत्रों का दौरा करेंगे। वहां की स्थिति का आकलन करेंगे। अधिकारियों के साथ समीक्षा करेंगे। योजनाओं को धरातल पर उतारने का प्रयास होगा।

सहारनपुर, मेरठ, मुरादाबाद, अलीगढ़, वाराणसी और आजमगढ़ मंडल के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भ्रमण प्रभारी हैं। उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के पास कानपुर मंडल, झांसी मंडल, चित्रकूट, प्रयागराज, मिर्जापुर और अयोध्या मंडल है। वहीं उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक को गोरखपुर मंडल, बस्ती, देवीपाटन, आगरा, बरेली और लखनऊ मंडल का प्रभारी बनाया गया है।

योगी सरकार के 18 मंत्रियों को 18 मंडलों का प्रभारी नियुक्त किया गया है। उनके साथ राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार और राज्यमंत्री लगाए गए हैं। अब तक दो-दो मंडलों का दौरा मंत्री कर चुके हैं। ऐसे में तीसरी बार योगी कैबिनेट में मंत्रियों के मंडलों के प्रभार बदल दिए गए हैं। सरकार का प्रयास है कि लोकसभा चुनाव से पहले नवंबर, 2023 तक सभी मंत्री प्रत्येक मंडल के प्रभारी का दायित्व निभा लें। यानी कि मंत्रियों के स्तर पर पूरे प्रदेश का भ्रमण कर लिया जाए। मंडल के प्रभारी मंत्री अपने प्रभार वाले क्षेत्र में विकास कार्यों, योजनाओं की समीक्षा करने के साथ-साथ सामाजिक समीकरण को मजबूत करने के लिए किसी दलित या अतिपछड़े वर्ग के घर पर रुकते हैं। वहीं पर भोजन करते हैं।

दिलीप शुक्ल

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