विज्ञानं एवं तकनीक : आईआईटी कानपुर में लगा देश का पहला सुपर-सुपर कम्प्यूटर

भूकंप, जलवायु परिवर्तन, आकाश गंगा जैसे रहस्यों से अब आईआईटी कानपुर पर्दा उठाएगा। जो अब तक किसी को नहीं मालूम था, उन राज के बारे में वैज्ञानिक रिसर्च कर बताएंगे। ये शोध देश के पहले सुपर सुपर कंप्यूटर के माध्यम से होगा, जिसे आईआईटी कानपुर में स्थापित किया गया है। क्योंकि इस रिसर्च में सुपर कंप्यूटर से भी कई गुना अधिक तेज गति की आवश्यकता थी। यह सुपर सुपर कंप्यूटर 1.3 पेटा फ्लॉप की गति से चलेगा।

आईआईटी कानपुर में लगातार नए शोध कर समाज की परेशानियों को दूर करने का प्रयास किया जा रहा है। अब वैज्ञानिक अनसुलझी प्राकृतिक आपदाओं पर शोध करने जा रहे हैं। इसके लिए संस्थान में सुपर सुपर कंप्यूटर लग गया है। इसको संचालित करने के लिए सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस्ड कंप्यूटिंग (सीडैक) के साथ समझौता भी हो चुका है। इस सुपर सुपर कंप्यूटर से सिर्फ वैज्ञानिक शोध नहीं करेंगे बल्कि संस्थान समेत कई शिक्षण संस्थान के छात्रों को लाभ मिलेगा। इसको इंटरनेट के माध्यम से चलाया जाएगा। आईआईटी कानपुर के बाद सुपर सुपर कंप्यूटर को आईआईटी रुड़की व आईआईटी मंडी में भी लगाने की तैयारी है। जिससे शोध को बढ़ावा दिया जा सके। आईआईटी कानपुर में इससे पहले दो सुपर कंप्यूटर लगे हुए हैं।

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