उप्र में 15 जून के बाद लागू होगा बाढ़ अलर्ट, कण्ट्रोल रूम को तत्काल सक्रिय करने निर्देश

-मुख्यमंत्री योगी ने की बाढ़ पूर्व तैयारियों की समीक्षा

-जिलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को संवेदनशील स्थलों का भ्रमण करने का दिया निर्देश
-एनडीआरएफ, एसडीआरएफ तथा पीएसी की फ्लड बटालियन को भी तैनाती के निर्देश
 

लखनऊ (हि.स.)।    उत्तर प्रदेश में 15 जून के बाद बाढ़ अलर्ट लागू हो जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलों में बाढ़ कण्ट्रोल रूम को तत्काल सक्रिय करने का निर्देश दिया है। जिलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को उन्होंने संवेदनशील स्थलों का भ्रमण करने का भी बुधवार को निर्देश जारी किया। 
मुख्यमंत्री योगी आज रात यहां अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में बाढ़ पूर्व तैयारियों की समीक्षा कर रहे थे। बैठक में मण्डलायुक्तों, जिलाधिकारियों, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों व पुलिस अधीक्षकों तथा बाढ़ नियंत्रण से सम्बन्धित अधिकारियों ने वर्चुअल माध्यम से प्रतिभाग किया। 
 इस दौरान मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि बाढ़ नियंत्रण के लिए टीम वर्क तथा अन्तर्विभागीय समन्वय से काम किया जाए। उन्होंने कहा कि बेहतर टीम वर्क, अन्तर्विभागीय समन्वय तथा समय से की गई तैयारियों के कारण विगत 04 वर्षों में प्रदेश में बाढ़ से बहुत ही कम जन और धन हानि हुई है। 
मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ के प्रति अति संवेदनशील तथा संवेदनशील जनपदों में बाढ़ बचाव से सम्बन्धित तैयारियों पर विशेष ध्यान दिया जाए। किसी आपात स्थिति से निपटने की सारी व्यवस्था पहले से की जाए। 15 जून के बाद सभी जनपदों में बाढ़ के प्रति अलर्ट लागू किया जाए। जिलाधिकारियों तथा पुलिस अधीक्षकों से कहा कि अपने-अपने जनपदों में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित करने, बाढ़ संवेदनशील स्थलों की माॅनीटरिंग के साथ-साथ पेट्रोलिंग भी करें। 
उन्होंने कहा कि सभी जनपदों में बाढ़ कण्ट्रोल रूम को कार्यशील कर दिया जाए और इनमें प्रशिक्षित लोगों को निरन्तर निगरानी पर लगाया जाए। उन्होंने कहा कि प्रदेश में अगले कुछ दिनों में माॅनसून के सक्रिय होने की सम्भावना है। अतः बाढ़ के प्रति संवेदनशील स्थलों को चिन्हित करते हुए आवश्यकतानुसार राहत सामग्री के पैकेट अभी से तैयार कर लिए जाएं। उन्होंने बाढ़ की स्थिति उत्पन्न होने पर प्रभावित लोगों को कम्युनिटी किचन के माध्यम से फूड पैकेट उपलब्ध कराने की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि प्रभावित लोगों को आवश्यकतानुसार ड्राई राशन वितरित करने के लिए अभी से राशन किट तैयार करने के भी निर्देश दिए। 
मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ की दृष्टि से अतिसंवेदनशील तथा संवेदनशील जनपदों में नौकाओं की उपलब्धता अभी से सुनिश्चित की जाए। बचाव कार्य के लिए बड़े और मध्यम आकार की नौकाएं ही उपयोग में लायी जाएं। छोटे आकार की नौका किसी भी दशा में इस्तेमाल न की जाए।
उन्होंने एनडीआरएफ, एसडीआरएफ तथा पीएसी की फ्लड बटालियन को भी एक्टिवेट कर डिप्लाॅय करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि बाढ़ पीड़ितों को समय पर राहत सामग्री उपलब्ध करायी जाए। बाढ़ से प्रभावित होने वाले लोगों की हर सम्भव मदद की जाए। 
मुख्यमंत्री ने अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य को बाढ़ के दौरान फैलने वाले संक्रमणों तथा अन्य स्वास्थ्यजनित परिस्थितियों के मद्देनजर सभी तैयारियां करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि बाढ़ के दौरान सर्पदंश, बिच्छू तथा कुत्ते के काटने की अनेक घटनाएं होती हैं। ऐसे में सभी जनपदों में एण्टी वेनम, एण्टी रेबीज वैक्सीन की उपलब्धता अभी से सुनिश्चित की जाए। सभी आवश्यक दवाओं की व्यवस्था भी सुनिश्चित की जाए। अपर मुख्य सचिव पशुपालन को बाढ़ के दौरान पशुओं में फैलने वाले खुरपका, मुंहपका जैसे रोग की रोकथाम के लिए आवश्यक वैक्सीन का प्रबन्ध समय से करने के निर्देश दिए। 
इसके अलावा मुख्यमंत्री ने प्रमुख सचिव खाद्य को बाढ़ के मद्देनजर सभी जनपदों में पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्न व दाल इत्यादि की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। राहत आयुक्त को सभी तैयारियां अभी से करने के निर्देश दिए, ताकि बाढ़ की स्थिति उत्पन्न होने पर राहत एवं बचाव कार्य प्रभावी ढंग से किए जा सकें और आवश्यकतानुसार राहत सामग्री का वितरण किया जा सके। मुख्यमंत्री ने मौसम विभाग के अधिकारियों से माॅनसून की अब तक की प्रगति तथा भविष्य में बारिश की सम्भावनाओं के विषय में भी जानकारी प्राप्त की। 
इस अवसर पर प्रदेश के जल शक्ति मंत्री डाॅ0 महेन्द्र सिंह ने मुख्यमंत्री को पूरे प्रदेश में बाढ़ नियंत्रण के लिए किए गए कार्यों के सम्बन्ध में अवगत कराया। वहीं अपर मुख्य सचिव सिंचाई टी0 वेंकटेश ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से बाढ़ पूर्व तैयारियों के प्रबन्धन के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी दी। 
बैठक में जल शक्ति राज्य मंत्री बलदेव ओलख, मुख्य सचिव आरके तिवारी, कृषि उत्पादन आयुक्त आलोक सिन्हा, अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी, अपर मुख्य सचिव वित्त श्रीमती एस0 राधा चैहान, अपर मुख्य सचिव कृषि देवेश चतुर्वेदी, अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे। 

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