आतिशी ने जीएसटी काउंसिल के फैसले का किया विरोध
नई दिल्ली (हि.स.)। दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी ने शनिवार को जीएसटी काउंसिल की बैठक से पहले एक प्रेस वार्ता कर ऑनलाइन गेमिंग पर जीएसटी के मुद्दे को रखा। इस दौरान उन्होंने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था और लोगों को रोजगार देने में स्टार्टअप्स का बहुत बड़ा सहयोग रहा है।
उन्होंने कहा कि एक तरफ तो हम बात करते हैं एंटरप्रेन्योर्स को प्रमोट करने की दूसरी तरफ जीएसटी काउंसिल ऐसे फैसले ले रहा है जो हमारे देश के स्टार्टअप इंडस्ट्री को खत्म करने की ओर बढ़ रहा है। शनिवार को होने वाली जीएसटी बैठक में ऑनलाइन गेमिंग पर 28 प्रतिशत टैक्स पर चर्चा होनी है।
आतिशी ने कहा कि ऑनलाइन गेमिंग सबसे बड़ा ग्रोइंग सेक्टर है। ये एक ऐसा सेक्टर है जिसमें 80 हजार से ज्यादा लोग एंप्लॉय है। ऑनलाइन गेमिंग इंडस्ट्री में 17 हजार करोड़ का विदेशी निवेश आया है। ऑनलाइन इंडस्ट्री में इतनी ग्रोथ हुई है कि पूरे देश में 40 करोड़ से ज्यादा लोग हैं जो छोटे-छोटे ऑनलाइन गेमिंग जैसे लूडो, कैरम जैसे ओनलाइन गेम एंटरटेनमेंट के तौर पर इस्तेमाल करता है।
उन्होंने कहा कि जीएसटी काउंसिल ने हाल ही में फैसला लिया और ऑनलाइन गेमिंग सेक्टर में पर 28 प्रतिशत जीएसटी लगा दिया। दिल्ली ने इसका विरोध किया। क्योंकि ऑनलाइन गेमिंग कोई लग्जरी सेक्टर नहीं है जिसे एक सर्टेन रिच लोग ही इस सेक्टर में इंवॉल्व होते हैं।
आतिशी ने आगे कहा कि एक अक्टूबर से यह 28 फ़ीसदी टैक्स लागू होना था लेकिन उससे पहले ही जीएसटी काउंसिल के डीजीजीआई ने सारी ऑनलाइन गेमिंग इंडस्ट्री को पिछले 6 साल के डेढ़ लाख करोड़ के टैक्स का नोटिस भेज दिए, इससे पूरा सेक्टर खत्म हो जाएगा कोई भी कंपनी नहीं बच पाएगी जो अपने वैल्यूएशन जितना टैक्स भर पाएगी। उदाहरण के तौर पर एक कंपनी है उसकी कंपनी की टोटल वैल्यूएशन 19000 करोड़ रुपए है। एक 19000 करोड़ की कंपनी को 10000 करोड़ का नोटिस आया है वह टैक्स नहीं भर पाएगी इसका नतीजा यह होगा कि कंपनियां टैक्स नहीं भर पाएंगे और टैक्स न भर पाने से कंपनी बंद हो जाएंगी।
कंपनियां बंद हुई तो बेरोजगार होंगे लोग
आतिशी ने कहा कि कंपनियां बंद हो गई तो 50 हजार से ज्यादा लोग जो प्रोग्राम्स या उन कंपनियों में काम करने वाले लोग बेरोजगार हो जाएंगे। दूसरी बात इस पूरे सेक्टर में रोजगार देने का पोटेंशियल खत्म हो जाएगा। तीसरी बार यह कैसा सेक्टर है इसमें पहले से ही 17 हजार करोड़ का विदेशी निवेश है 25 हजार करोड़ का और विदेशी निवेश पाइपलाइन में था लेकिन जब इतना अनस्टेबल टैक्स वातावरण है तो कौन सा विदेशी निवेशक इन कंपनियों में निवेश करना चाहेगा न सिर्फ यह बल्कि यह टेक्स वातावरण न सिर्फ ऑनलाइन गेमिंग इंडस्ट्री को बल्कि पूरे स्टार्टअप सेक्टर को इंपैक्ट करेगा।
अश्वनी