आईआईटी के संस्थान अनुसंधान संगोष्ठी में छात्रों ने अपने शोधों को किया प्रदर्शित
आईआईटी ने यूजी और पीजी छात्रों के लिए इंस्टीट्यूट रिसर्च सिम्पोजीयम का किया आयोजन
कानपुर(हि.स.)। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी कानपुर) की एकेडमिक्स एंड करियर काउंसिल ने संस्थान अनुसंधान संगोष्ठी 2023 का आयोजन किया। यहां पर आईआईटी कानपुर के विभिन्न इंजीनियरिंग, विज्ञान और मानविकी विषयों के पीजी और यूजी छात्रों ने अपने शोध को बड़े समुदाय के सामने प्रदर्शित किया। पहली बार आयोजित इस संगोष्ठी में 182 छात्रों की भागीदारी देखी गई, जिन्होंने विभिन्न डोमेन पर अपने शोध कार्य और नए विचार प्रस्तुत किए।
संगोष्ठी ने छात्रों और बाकी वैज्ञानिक समुदाय को एक साथ आने, अपने नवीन विचारों और सफलताओं को साझा करने और चर्चा करने के लिए एक मंच तैयार किया, जिसमें बदलाव लाने की क्षमता है। इसमें भाग लेने वाले छात्रों से ढेर सारे पथ-प्रदर्शक विचार प्राप्त हुए, जिसमें व्यक्तिगत चिकित्सा के संबंध में एक स्नातक छात्र से एक विचार भी शामिल है। जिसपर उन्होंने कहा कि जेईई की तैयारी के दौरान उनके दिमाग में यह विचार आया।
आईआईटी कानपुर के प्रो. एसएन त्रिपाठी, प्रो. मनोज हरबोला और प्रो. संदीप वर्मा ने व्याख्यान दिये, जिसने प्रतिभागियों को अंतःविषय अनुसंधान की आवश्यकता, और कुछ बड़ी चुनौतियों का समाधान करने के लिए वैज्ञानिकों के बीच अनुशासित अनुसंधान और नेटवर्किंग की अनिवार्यता के बारे में प्रेरित और शिक्षित किया। प्रतिभागियों और शोधकर्ताओं का विचार था कि यदि विज्ञान की एक शाखा में कोई शोध समस्या हल नहीं होती है, तो शायद पहले से ही किसी अन्य क्षेत्र में उसे संबोधित और हल किया जा चुका हो । प्रतिभागी अनुसंधान के विभिन्न क्षेत्रों से थे और इसने सभी के अनुभव को सार्थक बना दिया।
आईआईटी कानपुर के निदेशक प्रो. अभय करंदीकर ने इस बात पर जोर दिया कि यह संगोष्ठी गेम चेंजर है और इसे पैन-आईआईटी कार्यक्रम में विस्तारित किया जाना चाहिए। संगोष्ठी के समापन सत्र में आईआईटी कानपुर के उप निदेशक प्रो. एस. गणेश ने कहा कि यह संगोष्ठी आईआईटी कानपुर में किए गए शोध को सार्वजनिक दर्शकों के सामने प्रदर्शित करने का एक मंच भी बन सकती है। कार्यक्रम सफलता से प्रेरित होकर, एकेडमिक्स एंड करियर काउंसिल ने घोषणा की कि इस संगोष्ठी का अगला संस्करण अक्टूबर 2023 में आयोजित करने की योजना है।
अजय सिंह