Gonda News:मंदिर के महंत व पुजारी ने खुद रची थी हमले की साजिश
घटना काण्ड के मास्टर माइंड सहित 07 गिरफ्तार, जख्मी पुजारी भी पुलिस की निगरानी में
घटना में प्रयुक्त 03 अदद अवैध तमंचा मय कारतूस व 05 अदद मोबाइल बरामद, एक फरार की तलाश जारी
जानकी शरण द्विवेदी
गोण्डा। जिला पुलिस ने इटियाथोक थाना क्षेत्र के तिर्रे मनोरमा में स्थित श्री राम जानकी मंदिर के पुजारी पर हुए जानलेवा हमले की साजिश का खुलासा करते हुए मंदिर के महंत व वादी मुकदमा सीता राम दास व मौजूदा ग्राम प्रधान विनय कुमार सिंह समेत सात अभियुक्तों को गिरफ्तार कर घटना में प्रयुक्त असलहा व मोबाइल बरामद किया है। घटना में जख्मी व लखनऊ के किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय में उपचाराधीन पुजारी अतुल त्रिपाठी उर्फ सम्राट दास भी साजिश में शामिल होने के कारण पुलिस निगरानी में हैं। एक अन्य फरार अभियुक्त की गिरफ्तारी के लिए टीम छापेमारी कर रही है।
पुलिस कार्यालय में शनिवार को दोपहर बाद एक संयुक्त प्रेस वार्ता में यह जानकारी देते हुए जिलाधिकारी डा. नितिन बंसल तथा पुलिस अधीक्षक शैलेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि बीते 10/11 अक्टूबर की रात करीब दो बजे इटियाथोक थाना क्षेत्र के अन्तर्गत ग्राम तिर्रे मनोरमा स्थित ऐतिहासिक श्रीराम जानकी मन्दिर में सो रहे पुजारी अतुल त्रिपाठी उर्फ सम्राट दास को गोली मारकर घायल कर दिया गया था। इस सम्बन्ध में मंदिर के महन्त वृन्दारण त्रिपाठी उर्फ सीताराम दास द्वारा स्थानीय थाने पर भादवि की धारा 307 के तहत मुकेश सिंह पुत्र दारा सिंह, भयहरण सिंह पुत्र कल्लू सिंह, अमर सिंह पुत्र माता प्रसाद सिंह तथा दरोगा सिंह पुत्र प्यारे सिंह निवासी गण तिर्रे मनोरमा के खिलाफ अभियोग दर्ज कराया गया था। पुलिस ने तत्परता पूर्वक कार्रवाई करते हुए मुकदमें में नामजद 02 अभियुक्तों को अगले दिन गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था। जिले के एक प्रमुख मंदिर के पुजारी पर हमला होने के कारण अयोध्या के कई संत महंतों ने आकर पुलिस को खरी-खोटी सुनाई थी तथा सख्त कार्रवाई की मांग की थी। एसपी ने बताया कि पुलिस उपमहानिरीक्षक डा. राकेश सिंह के निर्देशन में उन्होंने स्वयं पर्यवेक्षण करते हुए अपर पुलिस अधीक्षक महेन्द्र कुमार व क्षेत्राधिकारी सदर लक्ष्मीकान्त गौतम के नेतृत्व में घटना के अनावरण के लिए पांच टीमें गठित की थी। विवेचना के दौरान इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यां, गवाहों के बयान व अन्य साक्ष्यों के आधार पर शुक्रवार को ग्राम तिर्रे मनोरामा स्थित हरिद्वार सिंह की बाग से सात अभियुक्तों वृन्दारण त्रिपाठी उर्फ सीताराम दास पुत्र सचितानन्द त्रिपाठी निवासी गुड़ थाना गुड़ जनपद रींवा, विपिन द्विवेदी उर्फ छोटू पुत्र शशिभूषण द्विवेदी निवासी रामनई थाना रायपुर करचुलियान जनपद रींवा (मप्र) तथा मुन्ना सिंह पुत्र हरिद्वार सिंह, नीरज सिंह पुत्र विनय सिंह, सोनू सिंह पुत्र देवनरायण सिंह, शिवशंकर सिंह पुत्र विनोद कुमार सिंह, ग्राम प्रधान विनय कुमार सिंह पुत्र स्व. रणजीत सिंह निवासी गण ग्राम तिर्रे मनोरमा थाना इटियाथोक जिला गोण्डा को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से घटना में प्रयुक्त असलहे सहित तीन अदद तमंचा 315 बोर व 07 अदद जिन्दा कारतूस 315 बोर व एक अदद खोखा कारतूस 315 बोर बरामद किया गया। एसपी ने बताया कि पंजीकृत अभियोग में भादवि की धारा 120बी, 193 व 195 की बढ़ोत्तरी की गयी।
एसपी ने बताया कि ग्राम तिर्रे मनोरमा में श्रीराम जानकी मन्दिर की करीब 120 बीघा जमीन है, जिसको लेकर महन्त सीताराम दास व पूर्व प्रधान अमर सिंह के बीच विवाद चल रहा है। मौजूदा ग्राम विनय सिंह व पूर्व प्रधान अमर सिंह के बीच प्रधानी की चुनावी रंजिश भी चल रही है। अति महत्वाकांक्षी व्यक्ति होने के कारण महंत सीताराम दास और विनय सिंह ने आपस में योजना बनाई कि अगर किसी गम्भीर मामले में फंसाकर अमर सिंह को जेल भेजवा दिया जाए, तो हम दोनों का मार्ग निष्कंटक हो जायेगा। अपने मिशन को कामयाब बनाने के लिए घटना में गिरफ्तार सात अभियुक्तों समेत सूरज सिंह उर्फ विश्वजीत सिंह पुत्र विनय कुमार सिंह निवासी तिर्रे मनोरामा तथा मंदिर के पुजारी अतुल त्रिपाठी उर्फ सम्राट दास पुत्र सत्यनरायण त्रिपाठी द्वारा करीब एक महीने पूर्व से ही षड़यन्त्र रचा जा रहा था। विचार विमर्श में तय किया गया कि पुजारी सम्राट दास को इस तरह से गोली मारी जाय कि उनको गोली भी लग जाय और जान भी बच जाय। घटना के दिन शाम को सभी अभियुक्त मन्दिर परिसर में ही एकत्रित हुए तथा वहीं पर तय किया कि आज रात को मुन्ना सिंह, सोनू सिंह व नीरज सिंह पुजारी को गोली मारने के लिए आएंगे। षड़यन्त्र के अनुसार तीनों लोग रात में करीब डेढ़ बजे मन्दिर के पीछे पहुंच गए तथा नीरज सिंह मन्दिर के छत पर चढ़ गया। वह वहीं से मंदिर की सुरक्षा ड्यूटी में लगे होमगार्डों पर नजर रखने लगा। रात्रि में लगभग दो बजे जब दोनों होमगार्ड ड्यूटी पर गश्श्त करते हुए मन्दिर से सड़क की तरफ चले गये तो नीरज सिंह के इशारे पर मुन्ना सिंह व सोनू सिंह असलहे के साथ मन्दिर के अन्दर घुस गये। वहां पर पुजारी सम्राट दास व महन्त सीताराम दास मिले। पुजारी सम्राट दास की सहमति से उसको खड़ा करके मुन्ना सिंह ने गोली मार दिया तथा महन्त सीताराम दास जाकर कमरे में सोने का नाटक करने लगा। फायर की आवाज सुनकर होमगार्ड भागकर मंदिर के अन्दर पहुंचे तो टार्च की रोशनी में तीन व्यक्तियों को भागते हुए देखा। उसी दौरान अभियुक्त सोनू सिंह ने होमगार्डों के ऊपर दूर से ही फायर किया था, परन्तु वह फायर मिस हो गया था। इस प्रकार से साजिशन उपरोक्त घटना को अंजाम दिया गया था। गिरफ्तार अभियुक्त गणों को न्यायालय रवाना किया गया।
एसपी ने बताया कि पुलिस टीम में प्रभारी निरीक्षक इटियाथोक संजय कुमार दुबे, थानाध्यक्ष वजीरगंज संतोष तिवारी, प्रभारी स्वाट/सर्विलांस अतुल चतुर्वेदी, एसएसआई राजेश कुमार पाण्डेय, मुख्य आरक्षी श्रीनाथ शुक्ला, आरक्षी मुलायम सिंह यादव, आदित्य कुमार पाल, राजेन्द्र यादव, अजीत सिंह, अरविन्द कुमार, राजू सिंह, अमितेश सिंह, हृदय नारायण दीक्षित, अरुण यादव, सुभाष यादव, रमाकान्त यादव, पवन कुमार यादव, जितेन्द्र कश्यप शामिल थे।

जल्द रिहा होंगे दोनों गिरफ्तार आरोपी : सीओ
क्षेत्राधिकारी सदर लक्ष्मी कांत गौतम ने बताया कि घटना में नामजद होने के कारण गिरफ्तार कर जेल भेजे गए दो आरोपियों को यथाशीघ्र जेल से रिहा कराने की कार्रवाई शुरू की जाएगी। इसके लिए विवेचक की तरफ से कल तक प्रत्येक दशा में 179 की रिपोर्ट न्यायालय को प्रेषित कर दी जाएगी। इसके अलावा अब तक गिरफ्तार न हुए पूर्व प्रधान अमर सिंह समेत दो व्यक्तियों की नामजदगी को निरस्त करते हुए उनका नाम भी मुकदमा से निकाल दिया जाएगा।