बैकयार्ड कुक्कुट पालन योजना से अनुसूचित जाति की आर्थिक स्थिति होगी मजबूत

कानपुर(हि.स.)। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार समाज के सबसे कमजोर वर्ग अनुसूचित जाति के परिवारों की आर्थिक स्थिति मजबूत करने के लिए कुक्कुट इकाइयों की स्थापना के लिए अनुदान दे रही है। इस योजना के तहत कानपुर में दो सौ कुक्कुट इकाइयां स्थापित की जाएगी। यह जानकारी गुरुवार को कानपुर के मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ.आर.पी.मिश्रा ने दी।

उन्होंने बताया कि कानपुर जिले में रहने वाले अनुसूचित जाति के आर्थिक रूप से कमजोर महिला एवं पुरुष का चयन करके उन्हें लो इनपुट टेक्नोलॉजी डुअल परपज के एक दिवसीय 50 चूंजे प्रति लाभार्थी को उपलब्ध कराये जाते हैं।

उन्होंने बताया कि योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन यापन करने वाले अनुसूचित जाति के परिवारों के पोषण स्तर में सुधार लाना और उनकी आय में वृद्धि करने के साथ ही उन्हें स्वरोजगार के अवसर उपलब्ध कराना है।

कैसी है योजना

उन्होंने बताया कि प्रति इकाई तीन हजार रुपये की धनराशि निर्धारित है। 50 चूजे दर 24.50 रूपए प्रति एक दिवसीय डुअल परपज, स्टेट रन, लो इनपुट टेक्नोलॉजी 1350 रुपये और दवा का 200 रुपये तथा छप्पर की व्यवस्था के लिए 425 रुपये और आहार (ब्रायलर स्टार्टर) यू.पी.एग्रो से 900 रुपये, यातायात पर व्यय 50 रुपये, प्रशिक्षण पर व्यय 75 रुपये, इस तरह कुल तीन हजार रुपये दिए जाते है। चूजे, छप्पर की व्यवस्था, आहार, यातायात पर व्यय एवं प्रशिक्षण पूर्णतः अनुदान है, जो कि लाभार्थी को निःशुल्क दिया जायेगा तथा इसकी वसूली लाभार्थी से नहीं की जायेगी।

कैसे होता है लाभार्थी का चयन

डॉ.आर.पी. मिश्रा ने बताया कि अनुसूचित जाति के निर्बल वर्ग के महिला अथवा पुरुष इस योजना के लाभार्थी होंगे। लाभार्थियों के चयन के लिए इस वर्ग के लोगों में से ग्राम प्रधान द्वारा प्रदत्त चयनित सूची का परीक्षण पशु चिकित्सा अधिकारी व पोल्ट्री प्रोग्राम अधिकारी करेंगे। इसके बाद जनपद स्तर पर मुख्य विकास अधिकारी की अध्यक्षता में मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी लाभार्थियों के चयन को अंतिम रूप प्रदान करते हैं।

लाभार्थी की पात्रता

इस योजना के लाभार्थी अनुसूचित जाति के आर्थिक रूप से निर्बल वर्ग के होंगे। लाभार्थियों का चयन ग्राम स्तर पर ग्राम प्रधान द्वारा प्रस्तावित किया गया हो, लाभार्थी उसी ग्राम का निवासी हो। लाभार्थी के पास अपना रहने की व्यवस्था हो। कुक्कुट पालन में रूचि रखता हो।

पात्र लाभार्थी का कराया जाएगा प्रशिक्षण

लाभार्थियों का चयन कर समीप के पशु चिकित्सालय पर उन्हें कुक्कुट पालन का एक सप्ताह का प्रशिक्षण निःशुल्क दिया जायेगा।

उन्होंने बताया कि अनुसूचित जाति के ग्रामीण परिवारों विशेषकर महिलाओं एवं बच्चों के कुपोषण को दूर करने में सहायता मिलेगी। ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले श्रमिकों को स्वरोजगार के अवसर बढ़ेंगे। अनुसूचित जाति के परिवारों के समाजिक एवं आर्थिक स्थिति में सुधार होगा।

राम बहादुर/राजेश

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