दहशत : बिकरु के ग्रामीणों में आज भी जिंदा है विकास दुबे का साया

कानपुर। सीओ समेत आठ पुलिस कर्मियों की हत्या की घटना बिकरु कांड का मुख्य अभियुक्त विकास दुबे भले ही पुलिस मुठभेड़ में मारा गया हो पर गांव के लोग अभी भी डरे हुए हैं। यह डर उसके आतंक के साम्राज्य का नहीं है, बल्कि उसकी मौत के साया का है। लोगों का मानना है कि विकास दुबे के खंडहर हुए महल में विकास के साया को देखा जाता है जिसके कारण गांव के लोगों में दहशत का मौहाल बना हुआ है।
चौबेपुर थाना क्षेत्र के बिकरु गांव का कुख्यात अपराधी विकास दुबे ने दो जुलाई की रात अपने गैंग के साथ मिलकर आठ पुलिस कर्मियों की बर्बरता पूर्ण हत्या कर दी थी। जिसके बाद पुलिस प्रशासन ने घटना के अगले दिन ही विकास दुबे के घटनास्थल वाले आवास को ढहा दिया था। तो वहीं पुलिस मुठभेड़ में गैंगस्टर विकास दुबे मारा भी जा चुका है। इस चर्चित बिकरु कांड मामले की गूंज पूरे देश में उठी थी। विकास के आतंक का साम्राज्य खत्म होने लोगों में भय जरुर कम हो गया है, पर अब लोग उसके साये से डर रहे हैं। घटना के दो माह बाद भी ग्रामीणों को सोते जागते विकास दुबे का भूत नजर आने लगा है। जिससे वे सभी काफी खौफजदा है। ग्रामीणों ने यह तक कह दिया कि उन्होंने विकास के भूत को उसी ध्वस्त हुए मकान पर बैठा देखा है। ग्रामीणों का कहना है कि विकास का भूत कुछ कहना चाहता है तो वहीं ग्रामीणों को खंडहर हुए मकान से फायरिंग की आवाज भी बार-बार सुनाई देती है। ग्रामीणों की माने तो जैसे-जैसे शाम होती जाती है ग्रामीण घरों में अपने कैद हो जाते हैं।
विकास के भूत की तेजी से उड़ रही अफवाह
ग्रामीणों के मन में किस कदर विकास दुबे का भय बना हुआ है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि ग्रामीण विकास दुबे के खंडहर घर के आस-पास से निकलना छोड़ दिये हैं। विकास दुबे की इस भूत वाली घटना को लेकर जहां कुछ लोग इस को महज एक अफवाह मानकर चल रहे हैं तो वहीं बहुत ही तेजी से विकास के भूत की अफवाह उड़ाई जा रही है। हालांकि लोग इन बातों को नहीं मानते हैं लेकिन ग्रामीणों के मन में अभी भी उन्हें ऐसा महसूस होता है कि विकास का भूत उसी खंडहर में है जो उनसे कुछ कहना चाहता है। फिलहाल जिस तरीके से विकास दुबे के भूत दिखने की अफवाह उड़ाई जा रही है यह कहीं ना कहीं लोगों में भय व्याप्त कर रही है। कुछ लोगों ने पंडितों से पूजन पाठ भी करने को जब जोर दिया तो उन पंडितों ने पूजन से मना कर दिया और बोले हम किसी भी प्रकार के कानूनी पचड़े में फंसना नहीं चाहते हैं। 
मन का वहम बता रहे पुलिस कर्मी
ग्रामीणों की माने तो आकाल मृत्यु हो जाने के कारण विकास का साया मंडरा रहा है साथ ही उसका कर्म कांड भी हिन्दू रीति रिवाजों से सम्पन्न भी नहीं हुआ है। जो आज विकास को सांसारिक मोह से मुक्त नहीं होने दे रहा है। वहीं इस घटना के बाद से लगातार पुलिस के जवानों को तैनात कर दिया गया है। जिससे कोई अप्रिय घटना दोबारा न होने पाए। ड्यूटी में लगे पुलिस कर्मियों की माने तो उनका कहना है कि ये सिर्फ मन का वहम है और हमको आज तक कुछ भी ऐसा अहसास नहीं हुआ है।

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